Mental Health

मुक्ताक्षर

ध्यान कार्य क्षमता और भावनात्मक स्वास्थ्य को बेहतर बनाता है

लेखक: Admin

उपशीर्षक: एक शोध में मानसिक स्वास्थ्य पर ध्यान (मेडिटेशन) के प्रभाव से जुड़ी कई जानकारियां सामने आई हैं। ध्यान न केवल तनाव से राहत देता है, बल्कि मानसिक स्थिति में निर्मलता भी लाता है।

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अब तक हुए सैंकड़ों शोधों और अध्ययनों में यह बात प्रमाणित हो चुकी है कि ध्यान (मेडिटेशन) करने से मानसिक तनाव दूर होता है। व्यक्ति सकारात्मक सोचने लगता है, उसकी एकाग्रता बढ़ती है आदि-आदि। हाल ही में वेस्ट वर्जीनिया के ‘कैंसर परमानेंट सेंटर फॉर हेल्थ रिसर्च’ नामक संस्था ने ध्यान को लेकर एक सर्वेक्षण किया है जिसमें ध्यान के मानसिक स्वास्थ्य पर प्रभाव को लेकर कुछ और बातों का पता लगाया गया है। ध्यान के प्रभावों से संबंधित कई जानकारियां इस शोध में सामने आई है।

संस्था ने अपने एक सर्वेक्षण में 106 सेकेंडरी स्कूलों के छात्रों को शामिल किया जो कि विभिन्न वर्गों, जातियों या व्यवसायों से जुड़े हुए थे। इनमें 87 फीसदी छात्र नस्लीय और जातीय अल्पसंख्यक समुदाय के थे। शोधकर्ताओं ने पाया कि ध्यान करने वाले छात्रों में मानसिक तनाव 36 फीसदी कम हुआ। इसके अलावा चिंता और अवसाद के लक्षणों में भी कमी देखी गई।

कार्य क्षमता में होता इजाफा:

शोधकर्ताओं ने पाया कि ध्यान करने वाले छात्रों की मानसिक ऊर्जा और कार्य क्षमता में जबरदस्त इजाफा हुआ था। इससे स्पष्ट हुआ कि छात्र अगर नियमित रूप से ध्यान करते रहें तो वह तनाव से तो दूर हो ही जाएंगे, साथ ही बढ़ी हुई कार्य क्षमता उनको हर क्षेत्र में सफलता दिलाने में सक्षम बना देगी।

अच्छा रहता भावनात्मक स्वास्थ्य:

‘जर्नल ऑफ इंस्ट्रक्शनल साइकोलॉजी’ की एक रिपोर्ट के अनुसार, सर्वेक्षण में कैलीफोर्निया विश्वविद्यालय के छात्रों का भावनात्मक स्वास्थ्य अच्छा या फिर औसत से अधिक देखा गया। इन सभी छात्रों को नियमित तौर पर ध्यान करवाया गया था। ‘कैंसर परमानेंट सेंटर फॉर हेल्थ रिसर्च’ के शोधकर्ता चार्ल्स एल्डर के मुताबिक, यह बहुत जरूरी है कि स्कूली छात्रों के अलावा उच्च विद्यालयों और महाविद्यालयों के छात्रों में होने वाले तनाव पर ध्यान दिया जाए और इनके लिए ध्यान को लेकर रणनीति बनाई जाए।

निर्धारित तकनीक भी जरूरी नहीं:

एल्डर के मुताबिक, जरूरी नहीं कि ध्यान की कोई निर्धारित तकनीक ही प्रयोग में लाई  जाए। 15-20 या इससे कुछ ज्यादा मिनटों तक सुबह के वक्त शांत चित्त बैठने का अभ्यास किया जाए तो भी बहुत शानदार नतीजे प्राप्त किए जा सकते हैं।

ये भी जानें..

शोधकर्ताओं ने अपने सर्वेक्षण के बाद ध्यान के कारण मानसिक स्थिति पर होने वाले इन प्रभावों को भी उजागर किया:

  • ध्यान करने से तनाव से मुक्त होने का अहसास होने लगता है।
  • ये किसी जड़ता या संवेदन शून्यता के कारण नहीं होता बल्कि मानसिक स्थिति में आई निर्मलता के कारण होता है।
  • ये निर्मलता ध्यान करने से ही आती है।
  • तनाव छूटते ही बढ़ जाती है ऊर्जा

(The report is sponsored by SBI cards. Courtesy: MHFI)

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